गोपाष्टमी – 01 नवम्बर 2022 🌹*
*🌹 वर्ष में जिस दिन गायों की पूजा-अर्चना आदि की जाती है वह दिन भारत में ‘गोपाष्टमी’ के नाम से मनाया जाता है । जहाँ गायें पाली-पोसी जाती हैं, उस स्थान को गोवर्धन कहा जाता है ।*
*🌹 गोपाष्टमी का महत्त्व 🌹*
*🌹 इस दिन प्रातःकाल गायों को स्नान कराके गंध-पुष्पादि से उनका पूजन किया जाता है । गायों को गोग्रास देकर उनकी परिक्रमा करें तथा थोड़ी दूर तक उनके साथ जाने से सब प्रकार के अभीष्ट की सिद्धि होती है । गोपाष्टमी के दिनb सायंकाल गायें चरकर जब वापस आयें तो उस समय भी उनका आतिथ्य, अभिवादन और पंचोपचार-पूजन करके उन्हें कुछ खिलायें और उनकी चरणरज को मस्तक पर धारण करें, इससे सौभाग्य की वृद्धि होती है ।*
*🌹 देशी गाय के दर्शन एवं स्पर्श से पवित्रता आती है, पापों का नाश होता है । गोधूलि (गाय की चरणरज) का तिलक करने से भाग्य की रेखाएँ बदल जाती हैं ।*
*🌹 गायों को घास देनेवाले का कल्याण होता है ।*